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पूर्णबंदी के बजाय क्षेत्रों में कोविड संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए रोकथाम के उपाय करें सरकारें

लखनऊ,संवाददाता | केंद्रीय गृह मंत्रालय ने राज्य सरकारों को सलाह देते हुए कहा है कि लॉक डाउन के बजाए उपाए तलाशे जाएं जिससे लोग कोरोना संक्रमित न होने पाएं | केंद्रीय गृह मंत्रालय ने कहा कि वे पूर्णबंदी के बजाय उन जिलों और क्षेत्रों में कोविड संक्रमण को नियंत्रित करने के लिए रोकथाम के उपाय करें, जहां दूसरी लहर बढ़ी है। मंत्रालय ने राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को निर्देश दिया कि वे 31 मई तक स्थिति के आकलन के आधार पर कार्यालयों, स्कूलों , सभाओं, बाजारों और विश्वविद्यालयों के संचालन पर तत्काल प्रतिबंध जैसे उपायों पर विचार करें।

मंत्रालय ने पिछले एक सप्ताह में संक्रमण के 10 प्रतिशत या अधिक मामले वाले जिलों और क्षेत्रों में गहन नियंत्रण उपायों का सुझाव दिया है, जहां 60 प्रतिशत से अधिक ऑक्सीजन लगे या आईसीयू बेड पर भर चुके हैं।

अप्रैल में कोविड-पॉजिटिव मामलों और मौतों में वृद्धि के बावजूद, कोविड नियंत्रण पर गृह मंत्रालय के नए दिशानिर्देशों में लॉकडाउन लागू करने के बारे में स्पष्ट किया कि राज्यों व केंद्रशासित प्रदेशों को प्रतिबंध की रणनीतियां अपने स्तर पर तैयार करने की छूट है।

बताते चलें ,केद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने रात के कर्फ्यू जैसे उपायों, धार्मिक,राजनीतिक, सामाजिक, खेल या मनोरंजन के उद्देश्यों के लिए सार्वजनिक समारोह पर रोक लगाने,अंतिम संस्कार में 20 लोगों और विवाह में अधिकतम 50 लोगों की उपस्थिति तय करने और जिम, स्पा ,शॉपिंग कॉम्प्लेक्स, सिनेमा हॉल बंद करने का आह्वान किया था। स्टेडियम, रेस्तरां, सार्वजनिक परिवहन और सरकारी व निजी कार्यालयों में 50 फीसदी उपस्थिति की सीमा तय की है।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने कहा, “हालांकि ये सांकेतिक गतिविधियां हैं, और राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को स्थानीय स्थिति, कवर किए जाने वाले क्षेत्रों और ट्रांसमिशन की संभावना का सावधानीपूर्वक विश्लेषण करना चाहिए और फिर निर्णय लेना चाहिए।”

कंटेनमेंट जोन में 14 दिनों के लिए प्रतिबंध रखने, टेस्ट-ट्रैक-ट्रीट-वैक्सीन दृष्टिकोण अपनाने और कोविड-उपयुक्त व्यवहार सुनिश्चित करने के लिए कहा गया है।

स्वास्थ्य मंत्रालय ने पात्र आयु समूहों के 100 प्रतिशत टीकाकरण का सुझाव देने के अलावा यह भी कहा कि अस्पताल में बेड भरे और खाली होने की स्थिति का विवरण दैनिक आधार पर ऑनलाइन उपलब्ध कराया जाए।

मंत्रालय ने यह भी कहा कि ऑक्सीजन, दवा, टीके की उपलब्धता और टीकाकरण केंद्रों का विवरण के अलावा रेमडेसिविर और टोसीलिजुमाब जैसी दवाओं के उपयोग से संबंधित दिशा-निर्देश को व्यापक रूप से प्रचारित किया जाना चाहिए।

इसी तरह की एक सलाह 26 अप्रैल को स्वास्थ्य मंत्रालय के दिशानिर्देशों के आधार पर जारी की गई थी, जिसमें राज्यों को कोविड-19 के फैलाव को रोकने के लिए कम से कम 14 दिनों के लिए स्थानीय प्रतिबंध लगाने के लिए कहा गया था।

दिशानिर्देश 31 मई तक लागू होंगे। जबकि 23 मार्च को जारी किए गए पिछले दिशानिर्देश 30 अप्रैल तक प्रभावी थे ।

दिल्ली जैसे राज्य के कुछ हिस्सों में मामलों की संख्या और बेड की कमी, आईसीयू और ऑक्सीजन की कमी के बीच कोविड-19 प्रबंधन के लिए ताजा दिशानिर्देश आया है।

केंद्रीय गृह मंत्रालय के आदेश में समुदाय नियंत्रण और बड़े नियंत्रण क्षेत्र के बारे में स्वास्थ्य मंत्रालय द्वारा दी गई सलाह को भी संलग्न किया गया है।

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